आरबीआई कर्ज पुनर्गठन का जल्द फैसला लेगा
नई दिल्ली
देश में कोरोना महामारी की दूसरी लहर से कारोबारियों की मुश्किलें एक बार फिर से बढ़ने लगी हैं। कई राज्यों में लॉकडाउन और बाकी जगहों पर दूसरे प्रतिबंधों के चलते कारोबार बेहद सुस्त हो गया है। जिससे उनकी कर्ज चुकाने की क्षमता घटने लगी है। सूत्रों के जरिए जानकारी मिली है कि रिजर्व बैंक कर्ज पुनर्गठन की सुविधा फिर से देने पर विचार कर रहा है।
कोरोना महामारी के पहले दौर में आरबीआई की तरफ से दी गई पुनर्गठन व्यवस्था की तारीख 31 दिसंबर तक ही थी। एक बार फिर से महामारी के पैर पसारने के चलते उसकी जरूरत फिर से महसूस होने लगी है। खास तौर पर छोटे कर्जदारों और उन लोगों को जिन्होंने गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों से कर्ज लिया है। जानकारी के मुताबिक 500 करोड़ रुपये से कम वाली गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों को भी कर्ज पुनर्गठन का मौका दिया जा सकता है।
इस बारे में वित्तीय संस्थानों से जुड़े संगठन की तरफ से रिजर्व बैंक को चिट्ठी भी लिखी गई है। आरबीआई से मांग की गई है कि मौजूदा हालत में छोटे दुकानदार, टैम्पो और ट्रक वाले छोटे कारोबारियों का कारोबार कमजोर हुआ है। ऐसे में उन्हें राहत दी जाए।